TUM
Friday, January 9, 2009
आज कहीं पदा
हर खुशी में कुछ कमी रह जायेगी
आँखें थोडी शबनमी रह जायेंगी
ज़िन्दगी को आप कितना ही स्वारिये
बिन हमारे कोई न कोई कमी तो रह ही जायेगी......
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